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इन शर्तों के साथ मुख्यमंत्री पद छोड़ने को तैयार हैं अशोक गहलोत, सोनिया से मुलाकात के बाद हो सकता है नामांकन

Rajasthan Political Crisis: राजस्थान में अशोक गहलोत की जगह कोई दूसरा मुख्यमंत्री शपथ ले सकता है. सूत्रों के हवाले से बताया गया है कि गहलोत सीएम पद छोड़ने के लिए तैयार हो गए हैं. इसका अगर दूसरा मतलब निकाला जाए तो अशोक गहलोत अगले कांग्रेस अध्यक्ष हो सकते हैं. इससे पहले अशोक गहलोत के करीबियों ने राजस्थान में बगावत छेड़ दी थी, जब सचिन पायलट को मुख्यमंत्री बनाने की बात सामने आई तो गहलोत समर्थक कई विधायकों ने इस्तीफा दे दिया. 


सोनिया गांधी से मुलाकात
अशोक गहलोत आज सोनिया गांधी से मुलाकात करने जा रहे हैं. इस मुलाकात के बाद वो नामांकन दाखिल कर सकते हैं. सूत्रों के मुताबिक इसके लिए गहलोत की तरफ से एक बड़ी शर्त रखी जाएगी. गहलोत चाहते हैं कि उनके विश्वस्त 102 विधायकों में से ही किसी को मुख्यमंत्री बनाया जाए. सचिन पायलट को सीएम बनाने के लिए गहलोत किसी भी कीमत पर तैयार नहीं हैं. यानी अगर आलाकमान ने सचिन पायलट के नाम पर मुहर लगाई तो राजस्थान में फिर बगावत देखने को मिल सकती है.

सोनिया गांधी लेंगीं अंतिम फैसला
अब सोनिया गांधी को ये फैसला लेना है कि वो अशोक गहलोत को अध्यक्ष पद की रेस में रखना चाहती हैं या फिर नहीं. सूत्रों के मुताबिक गहलोत गांधी परिवार के सबसे करीबी नेताओं में से एक हैं, इसीलिए उम्मीद कम है कि उनके खिलाफ कोई बड़ा एक्शन हो, लेकिन गहलोत की जो शर्त है उसे लेकर कांग्रेस की परेशानी बढ़ सकती है. क्योंकि सचिन पायलट के समर्थक विधायक लगातार मांग कर रहे हैं कि उन्हें जिम्मेदारी दी जाए. ऐसे में अगर गहलोत के किसी करीबी को सीएम की कुर्सी दी जाती है तो राजस्थान कांग्रेस में बवाल मच सकता है. पायलट पहले ही नाराज चल रहे हैं, इसीलिए अब पार्टी किसी भी हाल में उन्हें निराश नहीं करना चाहेगी. 

फिलहाल सभी को सोनिया गांधी के फैसले का इंतजार है. सोनिया को उन विधायकों और मंत्रियों पर भी फैसला लेना है, जिन्होंने राजस्थान में बगावत छेड़ने की कोशिश की. इसे लेकर पार्टी के सीनियर नेताओं ने सोनिया को एक रिपोर्ट सौंपी थी और गहलोत के करीबियों के खिलाफ सख्त एक्शन की बात कही थी. 

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